वाराणसी कोर्ट के जज अजय कृष्ण विश्वेश ने बुधवार 31 जनवरी को ज्ञानवापी परिसर में मौजूद तहखाने में हिंदुओं को पूजा-पाठ करने का अधिकार देने का फैसला सुनाया। उन्होंने जिला प्रशासन को 7 दिन के अंदर व्यवस्था कराने का आदेश दिया था। इसके पश्चात, अजय कृष्ण विश्वेश ने रिटायर हो जाने का निर्णय लिया।
वाराणसी जिला एवं सत्र न्यायाधीश एके विशेष, जज अजय कुमार विश्वेश ने अपनी न्यायिक सेवा के आखिरी दिन Gyanvapi के व्यास जी तहखाना में पूजा का आदेश दिया, जिससे वे इतिहास में दर्ज हो गए। उन्होंने ASI सर्वे का भी आदेश दिया था और अब ज्ञानवापी परिसर में व्यास जी के तहखाने में पूजा पाठ का भी आदेश जारी किया है।
जज अजय कृष्ण विश्वेश ने अपनी न्यायिक सेवा के आखिरी दिन, ज्ञानवापी परिसर के तहखाने में पूजा का अधिकार व्यास परिवार को सौंपने का निर्णय लिया, इसमें अयोध्या मामले में दिए गए ऐतिहासिक निर्णव का भी हिस्सा था। उनका यह निर्णय उन्हें इतिहास में विशेष स्थान पर रखता है।
जिला जज अजय कुमार विश्वेश ने अपने पद के क्षेत्र में कार्य करते हुए एएसआई (ASI) सर्वे का आदेश दिया था। इसके अलावा, उन्होंने ज्ञानवापी परिसर में स्थित व्यास जी के तहखाने में पूजा पाठ का आदेश भी जारी किया है।
वर्ष 2016 में, व्यास परिवार ने वाराणसी जिला जज की अदालत में एक याचिका दाखिल की। इसके परिणामस्वरूप, डॉ. अजय कृष्ण विश्वेश की कोर्ट में 30 जनवरी को दोनों पक्षों की बहस समाप्त हुई।
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