इंदौर : मध्यप्रदेश के इंदौर में 2 फरवरी को विश्व वेटलैंड डे के मुख्य कार्यक्रम के तौर पर रामसर साइट सिरपुर में आयोजित हुआ। इस महत्वपूर्ण कार्यक्रम में मुख्य अतिथि मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने शामिल होकर साइट के महत्व पर चर्चा की। उपस्थित थे पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय के राज्य मंत्री अश्विनी चौबे और रामसर सचिवालय की महासचिव डॉ. मुसोन्दा मुम्बा भी। कार्यक्रम में अधिकारियों ने बताया कि देश में अब तक 80 रामसर साइटें हैं, जो प्राकृतिक संसाधनों की सुरक्षा में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही हैं। यह कार्यक्रम जागरूकता बढ़ाने के लिए सकारात्मक कदमों की बातचीत का भी हिस्सा बना।
कार्यक्रम में नगरीय प्रशासन मंत्री कैलाश विजयवर्गीय और जल विकास मंत्री ने विभिन्न नगरों में जल संबंधित परियोजनाओं का उद्घाटन किया और जल संरक्षण के लिए समर्थन जताया। संसाधन मंत्री तुलसीराम सिलावट, पर्यावरण और वन मंत्री नागर सिंह चौहान, पर्यावरण राज्यमंत्री दिलीप अहिरवार, मेयर पुष्यमित्र भार्गव, सांसद शंकर लालवानी भी हैं। कार्यक्रम में देश के सभी राज्य वेटलैंड अथॉरिटी के अधिकारी, साइंटिस्ट्स, और देश की 80 रामसर साइट्स के प्रबंधक सहित दो से ज्यादा एक्सपर्ट्स ने भी भाग लिया है।
मुख्यमंत्री मोहन यादव ने व्यक्त किया कि नदी और पहाड़ों को ईश्वर का आवास मानते हैं। उनकी धारणा है कि पौधों में प्राण हैं और वे देश को माता स्वरूप मानते हैं, अनुसरण करते हुए वसुधैव कुटुम्बकम का मंत्र। उन्होंने इसके साथ ही कहा कि इंदौर के तालाबों की सुधार उज्जैन को भी लाभ पहुंचा सकती थी।
रामसर सचिवालय की महासचिव डॉ. मुसोन्दा मुम्बा ने इंदौर आने पर खुशी व्यक्त की और भारत सरकार को 80 रामसर साइटों की बधाई दी। उन्होंने कहा कि भारत से दुनिया को पर्यावरण और रामसर साइटों के प्रबंधन में कई सीखने की बातें हैं। उन्होंने यशवंत सागर का दौरा किया और वहां के राजवंश के पानी सप्लाय की व्याख्या करते हुए भाषण को समाप्त किया।
मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि सभी को संकल्प लेना होगा कि सरकार ने इस रामसर साइट को बना दिया, लेकिन इसके संरक्षण की जिम्मेदारी हमारी सबकी है। “यहां चोरी न हो, यहां ज्यादा से ज्यादा लोग पहुंचें ऐसे प्रयास करना चाहिए।”
महापौर पुष्यमित्र भार्गव ने बताया कि पिछले दो माह में उन्होंने नगर की सुंदरता को बढ़ाने के लिए कई पहलुओं पर काम किया है। उन्होंने 30 एमएलडी का सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट शुरू करने का एलान किया है, जिससे पर्यावरण के संरक्षण में मदद होगी। साथ ही, उन्होंने इको टूरिज्म को बढ़ावा देने के लिए भी पहल की हैं।
डीजी फॉरेस्ट और स्पेशल सेक्रेटरी जितेंद्रसिंह ने कहा कि संविधान में पर्यावरण संरक्षण को लेकर विशेष रूप से उल्लेख है; इसका विस्तृत रूप से लेखित अर्थ है कि प्राकृतिक संसाधनों की रक्षा में हमें गंभीरता से लेना चाहिए।
सीएम यादव और रामसर सचिवालय की महासचिव डॉ. मुसोन्दा मुम्बा ने तालाबों के संरक्षण की मार्गदर्शिका के ब्रोशर का विमोचन किया। इसके बाद देश के सभी रामसर साइट की पुस्तक का विमोचन भी किया।
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