भोपाल :- घनश्याम सिंह||

आचार्य विद्यासागर महाराज के जीवन पर आधारित 25 किताबों का विमोचन किया गया।
भोपाल में विधानसभा परिसर में पहली बार किसी जैन संत का स्मृति दिवस मनाया जा रहा है। आचार्य विद्यासागर महाराज के स्मृति दिवस पर मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव रहे। सीएम ने मंच पर बैठे आचार्य प्रमाण सागर जी महाराज का पाद प्रक्षालन (पैर धोए) किया।

सीएम ने मंच पर बैठे आचार्य प्रमाण सागर जी महाराज का पाद प्रक्षालन (पैर धोए) किया।
कार्यक्रम में आचार्य विद्यासागर महाराज के जीवन पर आधारित 25 किताबों का विमोचन किया गया। जैन समाज के अध्यक्ष ने भोपाल के रानी कमलापति रेलवे स्टेशन का नाम आचार्य विद्यासागर के नाम पर करने की मांग की है।
दिगंबर जैन मंदिर से शोभायात्रा निकाली गई। यात्रा रोशनपुरा चौराहा, मालवीय नगर, बिरला मंदिर होते हुए विधानसभा पहुंची। कार्यक्रम में विधानसभा अध्यक्ष नरेंद्र सिंह तोमर और सांसद आलोक शर्मा भी मौजूद हैं।

मुख्यमंत्री का वक्तव्य:
आचार्य विद्यासागर की दिव्यता: मुख्यमंत्री ने आचार्य विद्यासागर के जीवन और कार्यों की प्रशंसा करते हुए कहा कि वे जीते जी देवता के रूप में हम सबके बीच में विद्यमान हो गए हैं। उन्होंने उनके मानव सेवा के कार्यों को रेखांकित किया।
गोमाता का महत्व: मुख्यमंत्री ने गोमाता का जिक्र करते हुए कहा कि गोमाता के माध्यम से पूरी प्रकृति में बदलाव आ सकता है। गोमाता में वह भाव है जो न केवल अपने बच्चों का, बल्कि मनुष्य के बच्चों का भी ख्याल रखती है। उन्होंने गोमाता की सेवा और संरक्षण के महत्व पर बल दिया।
सीएम बोले- आचार्य विद्यासागर देवता के रूप में विद्यमान हो गए
कार्यक्रम के दौरान सीएम मोहन यादव ने कहा, आचार्य विद्यासागर महाराज के भीतर जो मानव सेवा का भाव रहा है उसके चलते वो जीते जी देवता के रूप में हम सब के बीच विद्यमान हो गए।
सीएम यादव ने गोमाता का जिक्र करते हुए कहा कि गोमाता के माध्यम से पूरी प्रकृति बदल सकती है। हम सबके जीवन में पूरा बदलाव आ सकता है। गोमाता के भीतर वह भाव है जो अपने बच्चों का ख्याल रखती है और मनुष्य के बच्चों का भी ख्याल रखती है।
द भारत 24 न्यूज़ भोपाल
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